पचमढ़ी के धूपगढ़ पॉइंट पर बंदरो का आतंक, पर्यटकों को किया घायल

मध्य प्रदेश के पचमढ़ी में गर्मी में टूरिस्ट के पहुचने का सिलसिला जारी है , ऐसे में सतपुड़ा की सबसे ऊंची चोटी धूपगढ़ पहुचने वाले पर्यटकों को बंदर परेशान कर रहे हैं, आज टूरिस्ट जिप्सी में बैठे 15 साल के किशोर को खूंखार बंदरो में लहुलुहान कर दिया। एसटीआर के फील्ड डायरेक्टर एल कृष्णमूर्ति बोले – बच्चे का इलाज करवाकर , हम आतंक मचाने वाले बंदरो को पकड़गे।

रिपब्लिक टुडे ,पचमढ़ी।

मध्यप्रदेश के एक मात्र हिल स्टेशन पचमढ़ी में इन दिनों भीषण गर्मी में भी वहां का तापमान कम है , जिसके चलते देश भर से लगातार पर्यटकों का पहुचना भी जारी है , मौसम के लिहाज से पचमढ़ी ठंडा स्थान है , पचमढ़ी जाने वाले पर्यटक अब सतपुड़ा की सबसे ऊंची चोटी धूपगढ़ जाने से डर रहे है, दरअसल धूपगढ़ पॉइंट पर बंदरो का आतंक शुरू हो गया है। धूपगढ़ पर जाने वाले पर्यटक , बंदरो के आतंक के चलते जिप्सी से नीचे नही उतर पा रहे, अधिकांश पर्यटक सन सेट और सन राइज को देखने धूपगढ़ पहुचते है, लेकिन हालात ऐसे है कि जिप्सी पहुचते ही बंदर इकट्ठा होकर घेर लेते है, लोगो का सामान छुड़ा लेते है। पर्यटकों की जरा सी असावधानी से बंदर नोंच कर लहूलुहान कर रहे है, लेकिन स्थानीय एसटीआर अधिकारी किसी तरह की कोई सुरक्षा की जिम्मेदारी नही ले रहे है, एसटीआर के स्थानीय कर्मचारियों का कहना है कि हम वन्य प्राणियों को नुकसान नही पहुचा सकते , यदि बंदर परेशान करते है तो पर्यटकों को धूपगढ़ नही जाना चाहिए, दूसरी तरफ धूपगढ़ के लिये एसटीआर का इको टूरिज्म सुबह से बुकिंग शुरू कर रहा है लेकिन पर्यटकों की सुरक्षा को लेकर कोई इंतजाम नही किये जा रहे है, पचमढ़ी के अंकुर अग्रवाल ने बताया कि देश विदेश से पचमढ़ी हिल स्टेशन आने वाले पर्यटकों के लिये धूपगढ़ महत्वपूर्ण पॉइंट है जहां अधिकांश पर्यटक पहुचना चाहते है, लेकिन कुछ दिनों से धूपगढ़ के बंदरो का आतंक ज्यादा हो गया है, जिससे लोग पर डरने लगे है। एसटीआर प्रबंधन को भी स्थानीय लोगो सहित टूरिस्ट द्वारा शिकायत की जा चुकी है लेकिन कोई कार्यवाही नही की गई। बता दे कि धूपगढ़ पहुचे एक परिवार के 15 वर्षीय किशोर को बंदरों ने नोंच दिया जिससे उसके हाथ और पीठ में जख्म हो गए है। पहले भी पर्यटकों को बंदरों ने नुकसान पहुचाया है।

उधर एसटीआर के फील्ड डायरेक्टर एल कृष्णमूर्ति कहना है कि , पर्यटकों को निर्देश दिए जाते है कि वे जब धूपगढ़ जाए तो कोई खाने का सामान बंदरो को न दे, लेकिन टूरिस्ट द्वारा बंदरो को खाने का सामान दिया जाता है, यदि किसी टूरिस्ट को क्षति पहुचाई है तो हमारे द्वारा उनका इलाज करवाया जाएगा, वही हम ऐसे बंदरो को पकड़कर दूसरे स्थान पर शिफ्ट करवायेंगे।

मध्यप्रदेश के मात्रा हिलस्टेशन पचमढ़ी के सर्वोच्च शिखर धूपगढ़ में बंदरों का बहुत आतंक है आए दिन किसी ने किसी पर्यटक या उनके बच्चों को बंदरों द्वारा नुकसान पहुंचाया जा रहा है आज बंदर द्वारा इस बालक को बहुत बुरी तरीके से काटा गया पूर्व में इसकी शिकायत नर्मदापुरम फील्ड डायरेक्टर कृष्णमूर्ति जी से की गई परंतु उनके द्वारा कोई एक्शन नहीं लिया गया और सूत्र बताते हैं कि उनके द्वारा कहा गया की जिन्हें दिक्कत है वह धूपगढ़ घूमने ना जाए पर हम बंदरों को फांसी नहीं हटा सकते हैं